Tuesday, 3 September 2024

Kashi shiv ji biggest शिवलिंग

काशी के कण-कण में शिव बसते है यहां शिव के अनेक रूप भी हैं। शिव के इस आनंद वन में शिव के चमत्कारों की कोई कमी नहीं है, कभी  काल भैरव में रूप में रक्षा करते हैं तो कभी बाबा विश्वनाथ के रूप में अपने भक्तों को तारक मंत्र से तारते हैं। इन रूपों के आलावा महादेव  एक और रूप में काशी मे वास करते है इन्हें तिलभांडेश्वर के नाम से जाना जाता है जो हर साल एक तिल के बराबर बढ़ते हैं।

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कथा के अनुसार वर्षों पहले इसी स्थान पर विभाण्ड ऋषि ने शिव को प्रसन्न करने के लिए तप किया था। इसी स्थान पर शिवलिंग के रूप में बाबा ने उन्हें दर्शन दिया था औऱ कहा था कि कलयुग में ये शिवलिंग रोज तिल के सामान बढे़गा और इसके दर्शन मात्र से मुक्ति का मार्ग प्रशस्त होगा मान्यता है कि बाबा तिलभाण्डेश्वर स्वयंभू हैं इस शिवलिंग में स्वयं भगवान शिव विराजमान हैं ।

मुस्लिम शासन के दौरान मंदिर को ध्वस्त करने के लिए तीन बार मुस्लिम शासकों ने सैनिकों को भेजा लेकिन हर बार भौरों के झुंड ने आक्रमण कारियो के ऊपर हमला कर दिया जिसके कारण मुस्लिम सैनिकों को वहाँ से उल्टे पाव वापस भागना पड़ा ।अंगेजी शासन के दौरान एक बार ब्रिटिश अधिकारियों ने शिवलिंग के आकार में बढ़ोत्तरी को परखने के लिए चारो ओर धागा बांध दिया जो अगले दिन टूटा मिला। 

यहां बाबा पर जल, बेलपत्र के अलावा तिल भी चढ़ाया जाता है। इससे शनि दोष भी खत्म होता है और सुख की प्राप्ति होती है। बाबा तिलभाण्डेश्वर के हर दिन दर्शन करने से अन्नपूर्णा में वृद्धि और पापों से मुक्ति मिलती हैं। 

🚩हर हर महादेव 🚩🙏🙏

Sunday, 27 March 2022

पाकिस्तान में धड़ाम होगी सरकार! इस्लामाबाद में रैली आज, इस्तीफा दे सकते हैं इमरान खान

इमरान खान
इमरान खान ने कहा था कि मैं किसी भी हालत में इस्तीफा नहीं दूंगा. मैं आखिरी गेंद तक खेलूंगा और एक दिन पहले उन्हें (विपक्ष) आश्चर्यचकित करूंगा क्योंकि वे अभी भी दबाव में हैं. मेरा ट्रंप कार्ड यह है कि मैंने अभी तक अपना कोई कार्ड नहीं खोला है.

  • विपक्ष को भरोसा- कई सांसद इमरान के खिलाफ खुलकर सामने आए हैं
  • इमरान पर पाकिस्तान चुनाव आयोग से जानकारी छिपाने का आरोप

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री कार्यालय के यूट्यूब चैनल का नाम बदलने से अटकलें तेज हो गई हैं कि इमरान खान रविवार को इस्लामाबाद में उनके द्वारा बुलाई गई सार्वजनिक रैली में प्रधानमंत्री पद छोड़ सकते हैं. रैली इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) की ताकत का प्रदर्शन है क्योंकि विपक्ष उनकी सरकार को हटाने के लिए नेशनल असेंबली में अविश्वास प्रस्ताव के लिए तैयार है. बढ़ते आर्थिक संकट से जूझ रहे इमरान खान और सामाजिक चुनौतियों के रूप में उनकी सरकार विपक्ष द्वारा लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों से जूझ रही है.

शनिवार को यूट्यूब चैनल के नाम में हुए बदलाव ने इसके संकेत दिए हैं कि जब चैनल का नाम प्रधानमंत्री कार्यालय था तब चैनल का वैरिफाइड ब्लू टिक था और अब इसका नाम बदलकर 'इमरान खान' कर दिया गया है. इमरान खान ने विपक्ष के विरोध को "डकैत" करार देते हुए विपक्ष पर कड़ा प्रहार किया है और लोगों से 27 मार्च को इस्लामाबाद के परेड ग्राउंड में बड़ी संख्या में आने का आग्रह किया है.

पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने एक ट्वीट में इमरान खान का जिक्र करते हुए कहा कि पाकिस्तान के पीएम चाहता हैं कि उनके लोग रविवार को परेड ग्राउंड में आएं. रविवार को हम लोगों का जनसैलाब दिखाएंगे. इमरान खान के लिए राजनीतिक चुनौतियां तब भी बढ़ गई हैं, जब उनकी सरकार अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) के साथ 6 बिलियन अमरीकी डालर के बचाव पैकेज पर बातचीत कर रही है. साथ ही बेरोजगारी और मूल्य वृद्धि से जूझ रही है

विपक्ष को भरोसा- कई सांसद इमरान के खिलाफ खुलकर सामने आए हैं

इस्लामाबाद में पीपीपी की रैली के बाद 8 मार्च को विपक्षी दलों द्वारा अविश्वास प्रस्ताव पेश किया गया था. विपक्ष को भरोसा है कि उसके प्रस्ताव को आगे बढ़ाया जाएगा क्योंकि  पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के कई सांसद पीएम इमरान खान के खिलाफ खुलकर सामने आए हैं.

एक्सप्रेस ट्रिब्यून ने शुक्रवार को सूत्रों का हवाला देते हुए कहा कि जैसे-जैसे महत्वपूर्ण अविश्वास प्रस्ताव सत्र नजदीक आता जा रहा है और राजनीतिक गठजोड़ में अनिश्चितता बनी हुई है, सत्ताधारी दल के कम से कम 50 मंत्री राजनीतिक मोर्चे से लापता हो गए हैं. रिपोर्ट में कहा गया है कि 50 से अधिक संघीय और प्रांतीय मंत्रियों को सार्वजनिक रूप से नहीं देखा गया है क्योंकि विपक्ष ने इमरान खान के खिलाफ संकट खड़ा करना शुरू कर दिया है. बढ़ते दबाव के बीच इमरान खान ने बुधवार को कहा था कि वह किसी भी सूरत में इस्तीफा नहीं देंगे. 

जियो न्यूज के मुताबिक, खान ने इस हफ्ते की शुरुआत में कहा था कि सेना के साथ उनके अच्छे संबंध हैं, लेकिन ऐसा लगता है कि पाकिस्तानी सेना ने खान पर से विश्वास खो दिया है, जिसके कारण खुफिया एजेंसी आईएसआई प्रमुख की नियुक्ति पर गतिरोध पैदा हो गया है.

पाकिस्तान नेशनल असेंबली में बहुमत के लिए 172 सदस्यों की जरूरत

पाकिस्तानी नेशनल असेंबली में 342 सदस्य हैं और इमरान खान को बहुमत साबित करने के लिए 172 सदस्यों के समर्थन की आवश्यकता है.  पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के नेतृत्व वाला गठबंधन 179 सदस्यों का है जिसमें पीटीआई के 155 सदस्य हैं. इमरान खान की सरकार को एमक्यूएम-पी, पाकिस्तान मुस्लिम लीग-कायद (पीएमएल-क्यू), बलूचिस्तान अवामी पार्टी (बीएपी) और ग्रैंड डेमोक्रेटिक अलायंस (जीडीए) का समर्थन प्राप्त है. इमरान खान और उनकी पार्टी के सदस्य उथल-पुथल को टालने के लिए हर हथकंडा अपना रहे हैं.

नेशनल असेंबली में इमरान खान की सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव को 28 मार्च तक टालने के बाद उनकी पार्टी ने अपने सहयोगियों को लुभाने के अपने प्रयासों को तेज कर दिया है. विपक्षी दलों ने कहा है कि भ्रष्टाचार से लड़ने के नारे पर सत्ता में आए खान को विदेशी फंडिंग मामले के संबंध में पाकिस्तान के चुनाव आयोग से महत्वपूर्ण जानकारी छिपाते हुए पाया गया था.

इमरान पर पाकिस्तान चुनाव आयोग से जानकारी छिपाने का आरोप

न्यूज इंटरनेशनल के अनुसार, विदेशी फंडिंग मामले में पाकिस्तान के चुनाव आयोग (ईसीपी) को सौंपे गए स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान के दस्तावेजों से पता चलता है कि 14 अलग-अलग देशों से 2 मिलियन डॉलर से अधिक के लेनदेन की जानकारी है और पीटीआई पार्टी के बैंक खातों में करोड़ों रुपये का स्थानीय लेन-देन ईसीपी अधिकारियों को उपलब्ध नहीं कराया गया था. रिपोर्ट में कहा गया है कि दस्तावेजों से यह भी पता चलता है कि इमरान खान की पीटीआई को 2013 में एक व्यवसायी और उसके पाकिस्तानी अमेरिकी पति से 29,800 अमेरिकी डॉलर का दान मिला था, लेकि

 



Saturday, 26 March 2022

Monday, 27 April 2020

LIVE Coronavirus Kanpur: उन्नाव में मिला दूसरा कोरोना पाजिटिव केस, कानपुर में आंकड़ा हुआ 192

कानपुर, जेएनएन। उन्नाव जिले के किला क्षेत्र में तबलीगी जमात से जुड़ा युवक कोरोना संक्रमित मिलने के 12 दिन बाद शुक्लागंज के आनंदनगर मोहल्ले में कोरोना पॉजिटिव दूसरा केस सामने आया है। यहां एक महिला में कोरोना संक्रमण मिलने की पुष्टि के बाद स्वास्थ्य विभाग की टीम ने उसके परिवार के तीन सदस्यों को आइसोलेट कर दिया है। पाजिटिव मिली महिला की कानपुर में जांच कराई गई थी। प्रशासन ने आनंदनगर मोहल्ले के एक किमी के दायरे को रेड जोन घोषित करके रास्ते और गलियों में बैरीकेडिंग कराकर सील कर दिया है। पुराने गंगा पुल को पूरी तरह सील कर दिया गया है, जबकि नवीन गंगा पुल से किसी को शुक्लागंज से कानपुर नहीं जाने दिया जा रहा है। कानपुर से शुक्लागंज आने वाले लोगों की थर्मल स्क्रीनिंग की जा रही है। रेड जोन को सैनिटाइज किए जाने का काम नगर पालिका कर रही है।

कानपुर में बिगड़ रहे हालात, 27 पॉजिटिव में 17 महिलाएं
जैसे-जैसे दिन आगे बढ़ते जा रहे हैं, कोरोना का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। घर के बाहर घूम रहे लापरवाह पुरुष कोरोना को घर के अंदर तक ले आए हैं। रविवार सुबह और शाम 189 नमूनों की जांच रिपोर्ट में पॉजिटिव मिले 27 मामलों में 17 महिलाएं हैं। ऐसा पहली बार हुआ है, जब एक साथ इतनी महिलाएं संक्रमित मिली हैं। इसके अलावा, दो पुलिसकर्मी और मुरारीलाल चेस्ट हॉस्पिटल का एक वार्ड ब्वाय भी पॉजिटिव मिले हैं। जिले में अब तक 192 संक्रमित मिले हैं, इनमें से तीन की मौत हो चुकी है, जबकि सात स्वस्थ होकर घर जा चुके हैं। इस तरह मौजूदा समय में 182 एक्टिव केस हैं।
सीएमओ डॉ. अशोक शुक्ला का कहना है कि कोरोना का संक्रमण घरों तक पहुंच गया है। लॉक डाउन का पालन नहीं करने वाले लोग बाहर घूम रहे हैं। उसके बाद घर जाकर अपने घर की महिलाओं की भी संक्रमित कर रहे हैं। शनिवार को मेडिकल कॉलेज की कोविड-19 लैब से आई जांच रिपोर्ट में 27 कोरोना पॉजिटिव आए हैं। इसमें सात मन्नापुरवा की सात महिला, तीन पुरुष, कर्नलगंज क्षेत्र से भी सात महिला, एक पुरुष और सादिक मियां का हाता का एक युवक है। रायपुरवा थाना और जाजमऊ चौकी के एक-एक पुलिसकर्मी संक्रमित मिले हैं। कानपुर के नोडल अधिकारी एवं लोक निर्माण विभाग के प्रमुख सचिव नितिन रमेश गोकर्ण ने कहा कि संदिग्ध व्यक्ति का सैंपल लेने के बाद उसे छोड़ना हाई रिस्क हो जाता है। जब तक रिपोर्ट निगेटिव नहीं आ जाएगी संदिग्ध व्यक्ति को भी क्वारंटाइन किया जाएगा।

नौ कोरोना संदिग्ध भर्ती, एक महिला की मौत
रविवार को हैलट के कोविड-19 हास्पिटल के आइसोलेशन वार्ड में नौ संदिग्ध मरीज भर्ती हुए। उनमें से सात को कोविड आइसीयू में शिफ्ट कर दिया गया है। उधर, शनिवार शाम भर्ती हुई फतेहपुर निवासी 50 वर्षीय महिला की रविवार दोपहर मौत हो गई।

Sunday, 26 April 2020

Coronavirus update: कानपुर में 13 महिलाओं समेत 20 नए मामले, संक्रमितों की संख्या 187 हुई Download Amar Ujala App for Breaking News in Hindi & Live Updates.

कानपुर में कोरोना बहुत तेजी से पैर पसार रहा है। रविवार को 20 और नए मामले सामने आए हैं। इस बार 20 में से 13 महिलाओं की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। सीएमओ डॉ. अशोक शुक्ला ने बताया कि कानपुर में अब कोरोना संक्रमितों की संख्या 187 हो गई है।
नए कोरोना पॉजिटिव 20 मामलों में 10 केस मुन्नापुरवा और 10 केस कर्नलगंज से सामने आए हैं। बताते चलें कि कानपुर में एक्टिव केस की संख्या 175 हो गई है। अब तक नौ कोरोना संक्रमित ठीक हो चुके हैं। शहर में अब तक तीन कोरोना  संक्रमितों की मौत हो चुकी है।


Saturday, 25 April 2020

लॉकडाउन: जरूरी के साथ गैर-जरूरी दुकानें भी आज से खुलेंगी, ये शर्तें होंगी लागू

लॉकडाउन: जरूरी के साथ गैर-जरूरी दुकानें भी आज से खुलेंगी, ये शर्तें होंगी लागू

अभी शॉपिग कॉम्प्लेक्स और मॉल इत्यादि को खोले जाने की इजाजत नहीं दी गई है. उम्मीद की जा रही है कि गृह मंत्रालय के इस आदेश के बाद देश में व्यावसायिक गतिविधियां कुछ रफ्तार पकड़ सकेंगी.

दुकानों को शर्तों के साथ खोलने की इजाजत (फोटो-PTI)दुकानों को शर्तों के साथ खोलने की इजाजत (फोटो-PTI)
नई दिल्ली, 25 अप्रैल 2020, अपडेटेड 08:57 IST
  • गृह मंत्रालय ने कुछ शर्तों के साथ दी है इजाजत
  • दुकान में स्टाफ को मास्क लगाना अनिवार्य होगा
कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए देश में 3 मई तक लॉकडाउन लागू है. लेकिन, लॉकडाउन में बंद लोगों के लिए इस बीच राहत की एक खबर है. गृह मंत्रालय ने देश में आज से तमाम दुकानों को शर्तों के साथ खोलने की इजाजत दे दी है. ये वो खबर है जिसका इंतजार पूरा देश कर रहा था, लेकिन कोरोना वायरस का संक्रमण अब भी तेजी से पैर पसार रहा है, इसी को देखते हुये सरकार ने कुछ शर्तें भी रखी हैं.
गौरतलब है कि लॉकडाउन की वजह से सभी तरह के प्रतिष्ठान बंद कर दिए गए थे और सिर्फ जरूरी सामान जैसे सब्जी, फल, दवाई और किराना की दुकानों को ही खोलने की इजाजत दी गई थी. लेकिन अब केंद्र सरकार ने अपने फैसले में थोड़ा बदलाव कर लिया है. अब जरूरी चीजों के साथ ही गैर-जरूरी चीजों की दुकानें खोलने की भी इजाजत दे दी गई है.
mha_042520120831.jpgगृह मंत्रालय का आदेश
इन शर्तों के साथ खुलेंगी दुकानें
गृह मंत्रालय की तरफ से जारी आदेश के मुताबिक केंद्र सरकार ने आवासीय कॉलोनियों के समीप बनी दुकानों और स्टैंड-अलोन दुकानों को खोलने की इजाजत दी है जो नगरपालिका और नगर निगमों की सीमा के भीतर आती हों. लेकिन इस इजाजत के साथ गृह मंत्रालय ने कुछ शर्तें भी लागू की हैं. दुकानों में सिर्फ 50 फीसदी स्टाफ मास्क के साथ ही काम कर सकेगा.

शर्तों के मुताबिक सभी दुकानें संबंधित राज्य/केंद्र शासित प्रदेशों के स्थापना अधिनियम के तहत पंजीकृत होनी चाहिए. दुकानों में सिर्फ आधा स्टाफ ही काम कर सकेगा. सोशल डिस्टेंसिंग के साथ स्टाफ को मास्क लगाना अनिवार्य होगा.
यानी कोरोना से बचाव के लिये जो एहतियात जरूरी हैं, उन्हें ही शर्तों के तौर पर लागू किया गया है. इसके अलावा एक बड़ी शर्त ये है कि दुकानें खोलने का ये नया आदेश उन इलाकों में लागू नहीं होगा जिन्हें कोरोना हॉटस्पॉट माना गया है या कंटेनमेंट घोषित किया गया है.